🔹 अमित शाह का ऐतिहासिक बयान सुर्खियों में
गृहमंत्री अमित शाह ने एक बार फिर इतिहास के एक अहम अध्याय पर अपनी राय रखी है। उन्होंने कहा कि भारत का विभाजन जनता की इच्छा से नहीं, बल्कि कांग्रेस वर्किंग कमेटी के राजनीतिक फैसले से हुआ था। शाह के इस बयान ने देश की राजनीति में नई बहस को जन्म दे दिया है।
🔹 “जनता नहीं, कांग्रेस ने किया था विभाजन”
एक सार्वजनिक सभा में बोलते हुए अमित शाह ने कहा — “भारत की आम जनता कभी विभाजन नहीं चाहती थी। यह फैसला कांग्रेस वर्किंग कमेटी का था, जिसने देश को दो हिस्सों में बाँट दिया।” उन्होंने कहा कि उस समय के नेताओं ने अपने राजनीतिक स्वार्थ के कारण इतिहास को हमेशा के लिए बदल दिया।
🔹 ‘अब नया भारत इतिहास से सीखेगा’
अमित शाह ने आगे कहा कि आज का भारत आत्मविश्वास से भरा, निर्णायक और जागरूक देश है। उन्होंने कहा, “हम इतिहास से सीख लेकर नए भारत का निर्माण कर रहे हैं। जो गलतियां उस समय हुईं, वे अब दोहराई नहीं जाएंगी।” शाह ने युवाओं से भी अपील की कि वे देश के इतिहास को सही दृष्टिकोण से समझें।
🔹 कांग्रेस पर सीधा निशाना
इस बयान के ज़रिए अमित शाह ने अप्रत्यक्ष रूप से कांग्रेस पार्टी और उसके नेतृत्व पर तीखा हमला बोला। उन्होंने कहा कि आज भी कांग्रेस इतिहास से सबक नहीं ले रही और वही विभाजनकारी राजनीति जारी है। बीजेपी नेताओं ने शाह के इस बयान का समर्थन करते हुए कहा कि “सच्चाई अब जनता के सामने आनी चाहिए।”
🔹 राजनीतिक हलचल और प्रतिक्रियाएं
शाह के बयान के बाद विपक्षी दलों ने तीखी प्रतिक्रिया दी है। कांग्रेस नेताओं ने कहा कि बीजेपी इतिहास को तोड़-मरोड़ कर पेश कर रही है। वहीं, बीजेपी प्रवक्ताओं का कहना है कि शाह ने सिर्फ ऐतिहासिक सच्चाई को दोहराया है। राजनीतिक विश्लेषक मानते हैं कि यह बयान लोकसभा चुनाव 2025 की रणनीति से भी जुड़ा हो सकता है।










